सरायकेला/ Pramod Singh नौ दिवसीय श्रीराम कथा का भव्य कलशयात्रा के साथ शुभारंभ कलश यात्रा श्री लक्ष्मी नारायण मंदिर सरायकेला से निकली और धर्मशाला में समाप्त हुई. मारवाड़ी युवा मंच, अखिल मारवाड़ी महिला समिति एवं अखिल मारवाड़ी सम्मेलन सरायकेला के संयुक्त तत्वावधान में मारवाड़ी धर्मशाला में आयोजित श्री राम कथा के पहले दिन कथा वाचक पं वेदानंद शास्त्री ने श्रीराम कथा का शुभारंभ करते हुए कहा कि रामकथा कलयुग में भगवत प्राप्ति का सबसे सरल साधन है, जो कानों के माध्यम से व्यक्ति के मन में प्रवेश करती है. इससे भगवान की छवि मन में बैठ जाती है और भगवत दर्शन की लालसा पैदा करती है. इसी लालसा से ही रास्ता निकाला जाता है.
गुरु की महिमा का वर्णन करते हुए कहा कि गोस्वामी तुलसीदास ने ईश्वर की प्राप्ति के लिए सतगुरु की आवश्यकता बताई है. गुरु खोजे नहीं जाते, गुरु का दर्शन किया जाता है. उन्होंने राम नाम की महिमा बताते हुए कहा कि कलयुग में योग, यज्ञ ,जप, तप, व्रत, पूजा जैसे साधना के कठिन मार्ग संभव नहीं है। केवल भगवान के नाम का सुमिरन ही भवसागर से पार कर सकता है. भगवान के सहस्त्रनाम हैं और कोई भी नाम जपा जा सकता है. इसी प्रसंग में उन्होंने माता सती के अभिमान और बिन बुलाए अपने पिता के यज्ञ में जाने और भगवान शंकर का अपमान होने पर योग अग्नि के द्वारा अपने शरीर को जलाकर भस्म करने की कथा सुनकर श्रोताओं का हृदय द्रवित हो गया. उन्होंने भगवान शिव तथा सती के प्रसंग के माध्यम से राम कथा के महत्व का सुंदर वर्णन किया.
पहले दिन कथा के मुख्य सीताराम सेक्सरिया सपत्नीक रहे.
कथा के पूर्व व कलशयात्रा में मारवाड़ी सम्मेलन के नव निर्वाचित जिला अध्यक्ष सह नगर पंचायत के पूर्व उपाध्यक्ष मनोज कुमार चौधरी, युवा मंच के अध्यक्ष आकाश अग्रवाल, महिला समिति की अध्यक्ष रेखा सेक्सरिया, संदीप सेक्सरिया,
बिमल चौधरी, सविता चौधरी,
इंद्रा अग्रवाल, सत्यनारायण अग्रवाल, सरोज सेक्सरिया, अरुण सेक्सरिया, सुषमा चौधरी, बरखा चौधरी, सुधा अग्रवाल, राधा अग्रवाल, कविता अग्रवाल एवं काफी संख्या में श्रोतागण उपस्थित थे. उक्त अवसर पर मनोज चौधरी ने कहा कि सनातन संस्कृति के उत्थान हेतु श्री राम कथा का आयोजन किया जा रहा है. श्री राम कथा से पूरा वातावरण शुद्ध होता है.