आदिवासी कुड़मी समाज की ओर से सरायकेला-खरसावां के चांडिल प्रखंड संयोजक राजकिशोर महतो टिड़ुआर के नेतृत्व में 1982 के तिरुलडिह गोलीकांड में शहीद हुए क्रांतिकारी अजीत महतो और धनंजय महतो का 39वां शहादत दिवस चौका मोड़ पर मनाया गया. इस मौरे पर दोनों की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि दी गई.


जिला संयोजक मंडली सदस्य पंचानन महतो केटिआर ने कहा कि आज 39 साल बाद अलग राज्य बनने के 21 साल बाद भी शहीद और शहीद परिवार को उचित सम्मान नहीं मिल पाना दुर्भाग्यपूर्ण है. कई सरकारें बनीं. क्षेत्र में कई विधायक-सांसद हुए. किसी ने इनकी सुधि नहीं ली. चौका मोड़ की प्रतिमा जर्जर हो गई है. इसपर नेताओं और जनसेवकों का ध्यान आकृष्ट कराते हुए वक्ताओं ने कहा कि सम्मानजनक स्थान सुनिश्चित कराने की अपेक्षा रखते हैं. मौके पर कुकड़ू प्रखंड अध्यक्ष डॉ विभीषण महतो बंसरिआर, कोषाध्यक्ष शशिभूषण महतो, चांडिल संयोजक राजकिशोर टिड़ुआर, राजेश मुतरुआर, सुखदेव काड़ुआर, राकेश मुतरुआर, धनंजय आदि मौजूद थे.
