राज्य के पूर्व मंत्री और झामुमो नेता दुलाल भुइयां ने अपनी ही सरकार पर निशाना साधा है. दरअसल मकर संक्रांति और टुसू पर्व पर कोविड प्रोटोकॉल के तहत लगाए गए पाबंदियों को लेकर पूर्व मंत्री नाराज हैं. शुक्रवार को अपने आवास पर अपने परिजनों के साथ पूर्व मंत्री ने टुसू पर्व मनाया और पारंपरिक मांदर भी बजाएं. हालांकि वह उत्साह नजर नहीं आया, जिसके लिए टुसू पर्व जाना जाता है. यही कारण है, कि पूर्व मंत्री सरकार के फैसले से खफा हैं. उन्होंने बताया कि झारखंड के आदिवासियों- मूलवासियों का सबसे बड़ा पर्व टुसू है. मगर सरकार की पाबंदियों के कारण यहां के आदिवासियों- मूलवासियों की भावनाएं आहत हुई हैं. लोक आस्था के पर्व छठ की तुलना करते हुए पूर्व मंत्री ने राज्य सरकार पर यहां के आदिवासियों मूलवासियों की भावनाओं को आहत करने का आरोप लगाया है. उन्होंने बताया, कि छठ महापर्व के वक्त सरकार और पूरा प्रशासनिक महकमा नदियों- घाटों की साफ-सफाई में जुटा रहता है, मगर आदिवासियों मूलवासियों के सबसे बड़े पर्व मकर पर पाबंदियां लगा दी जाती है. हालांकि पूर्व मंत्री अपने विवादित बयानों को लेकर हमेशा से सुर्खियों में रहे हैं. इस बार भी उन्होंने लोक आस्था के पर्व छठ और झारखंड के सबसे बड़े पर्व टुसू और मकर को लेकर नया बयान दे दिया है. अब देखना यह दिलचस्प होगा, कि राजनीतिक महकमे से इसपर क्या प्रतिक्रिया आती है.
सुनिए क्या कहा पूर्व मंत्री ने
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