जमशेदपुर: शहर की चर्चित वर्षा पटेल हत्याकांड में सिविल कोर्ट की ओर से आरोपी एएसआइ धर्मेंद्र कुमार सिंह के खिलाफ मंगलवार को सजा के बिंदु पर सुनवायी करते हुये उम्रकैद की सजा सुनायी है. यह सजा प्रधान जिला व सत्र न्यायाधीश अनिल कुमार मिश्रा की अदालत ने सुनायी है. सजा सुनाते समय वर्षा पटेल की मां-बहन के साथ-साथ परिवार के लोग भी मौजूद थे.
12 नवबर 2021 को अचानक हो गयी थी गायब
बिष्टुपुर के धतकीडीह की रहनेवाली वर्षा पटेल 12 नवंबर 2021 को अचानक से गायब हो गयी थी. इसके बाद 18 नवबर 2021 को वर्षा का शव टेल्को के तार कंपनी तालाब से बोरा में बंद हालत में पुलिस ने बरामद किया था. तब शव की पहचान उसकी छोटी बहन ने की थी. इसके बाद वर्षा की बहन जया के बयान पर बिष्टुपुर थाने में एएसआइ धर्मेंद्र के खिलाफ अपहण करने और हत्या कर साक्ष्य छिपाने के लिये शव को तालाब में फेंक देने का मामला दर्ज कराया गया था.
प्रशासनिक अधिकारी बनना चाहती थी वर्षा- मां
वर्षा पटेल की मां लक्ष्मी पटेल ने बातचीत में बताया कि मेरी बेटी वर्षा पटेल पढ़ने-लिखने में काफी तेज थी. वह प्रशासनिक अधिकारी बनने की तमन्ना लिये हुये थी. इस मामले में उन्हें पुलिसवालों का खुलकर सहयोग नहीं मिला है, लेकिन कोर्ट के न्याय का वह सम्मान करती है. कोर्ट के फैसले से वह बेहद संतुष्ट हैं.
सिर को दीवार पर पटककर की थी हत्या
हत्या की घटना के दिन धर्मेंद्र बाइक लेकर वर्षा पटेल के घर पर गया हुआ था. इसके बाद वह जया को अपने घर टेल्को लेकर चला गया था. वहां उसने जया के साथ मारपीट की थी. इस बीच उसका सिर दीवार से पटका था. अंततः दम टूट जाने पर उसने शव को बोरा में भरकर तार कंपनी तालाब में रात के 12 बजे के बाद फेंक दिया था. इस बीच उसने गार्ड का भी सहारा लिया था. उससे कहा था कि वह पूजन सामग्री फेंकने जा रहा है.