सरायकेला: निर्मल मन जन सो मोहि पावा; मोहि कपट छल छिद्र न भावा।।
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वृंदावन से पधारे श्रद्धेय स्वामी अनुपानंद महाराज के ओजस्वी वाणी से श्रीराम कथा प्रसंग में सत्संग की महिमा के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि भगवान को छल प्रपंच पसंद नहीं है. निर्मल मन जन सो मोहि पावा।
मोहि कपट छल छिद्र न भावा।।
उन्होंने भक्ति और वैराग्य के विषय में भी विस्तार पूर्वक बताया. मौके पर सरायकेला नगर पंचायत उपाध्यक्ष मनोज कुमार चौधरी सहित काफी संख्या में महिला एवं पुरुष उपस्थित रहे.
सनातन संस्कृति के उत्थान और प्रचार के उद्देश्य से निहित कथा सरायकेला के भक्त मंडली द्वारा आयोजित किया गया है. आयोजनकर्ता में अजय साहू, आलोक साहू, चिरंजीवी (कोल्हू) महापात्र, त्रिलोचन महतो, दुःखु राम साहू इत्यादि रहे.
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