सरायकेला (Pramod Singh) सरायकेला में लोक आस्था के महापर्व छठ के मौके पर रविवार की शाम व्रतियों ने अस्ताचलगामी भगवान सूर्य को पहला अर्घ्य दिया.
सोमवार की सुबह उगते सूर्य को दूसरा अर्घ्य देने के साथ ही चार दिवसीय लोकआस्था के महापर्व छठ का अनुष्ठान संपन्न हो जाएगा. इसके बाद व्रतियां पारण कर ठेकुआ का प्रसाद बांटेंगी.
रविवार की शाम अस्ताचलगामी सूर्य को पहला अर्घ्य अर्पित करने के लिए सरायकेला के खरकाई नदी घाटों, तालाबों, पोखरों में आस्था का जनसैलाब उमड़ पड़ा. बीते शनिवार को खरना के बाद से व्रतियों ने 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू कर दिया था. रातभर व्रतियों ने छठी मइया की आराधना की. घर- घर छठी मइया के गीत गाये जा रहे थे. ऐसे में सुबह कब हो गई, व्रतियों को पता तक नहीं चला. रविवार को दिन चढ़ने के साथ ही व्रतियों में अस्ताचलगामी सूर्य को पहला अर्घ्य प्रदान करने के लिए उत्साह चरम पर पहुंच चुका था.
दोपहर 1 बजे के बाद से ही दूर- दराज के व्रतियों के कदम नदी घाटों, तालाबों और पोख्ररों की ओर बढ़ने शुरू हो गये. शाम होते ही घाट व्रतियों से पट गया. शहर से लेकर गांव तक का माहौल पूरी तरह से भक्तिमय दिखा. व्रती पारंपरिक छठ गीतों मारबऊ रे सुगवा धनुष से…. चलआ छठी माई के घाट…. हे छठि माई…. हे छठि माई…. हम हई इहां परेदेश में… आईल छठि के बरत… केरे उठाई माथे सुपवा… दउरवा… केरे करत घाट भराई… पटना के घाट पर हमहूं अरगिया देबई हे छठी मइया… कांच के बांस के बहंगिया, बहंगी लचकत जाए.. होख न सुरुजदेव सहाय… .बहंगी घाट पहुंचाए.. बाबा कांचे- कांचे बंसवा कटाई दीह फरा फराई दीह.. पटना के घटवा पर बाजे बजनवा.. केलवा जे फरेले घवद से वोपर सुगा मड़राए जैसे गीत गाते हुये जहां घाटों पर पहुंचे. वहीं इन गीतों को गाते हुये घर वापस आये. शहर भर में लाउडस्पीकरों पर छठी मइया के ये सभी गीत बज रहे थे.
सरायकेला के जगन्नाथ घाट पर जिले के एसपी आनंद प्रकाश अपने परिवार के साथ छठ पूजा करने पहुंचे. भगवान सूर्य को अर्घ्य देने जिला सत्र न्यायाधीश विजय कुमार, जिले के डीसी अरवा राजकमल, एसडीओ राम कृष्ण कुमार, नगर पंचायत कार्यपालक पदाधिकारी राजेंद्र कुमार गुप्ता, उप निर्वाचन अधिकारी अर्चना सिंह, जिला आपूर्ति पदाधिकारी प्रमोद कुमार झा, सीओ सुरेश प्रसाद सिन्हा, सर्किल इंस्पेक्टर राम अनूप कुमार महतो सहित जिले के वरीय पदाधिकारी पहुंचे थे.