रांची: झारखंड के तपते सियासी पारे पर सीएम हेमंत सोरेन ने यह कहते हुए विराम लगा दिया है कि जब भी सियासत पर संकट आए आप लोग सत्ता की रक्षा के लिए तैयार रहें, एकजुट रहें और राज्य को लूटने वाले ताकतों से सावधान रहें.
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बता दें कि गुरुवार को ईडी द्वारा सीएम हेमंत सोरेन को पूछताछ के लिए बुलाए जाने के बाद राज्य का सियासी पारा अचानक गर्म हो गया था. गुरुवार को राजधानी रांची झामुमो नेताओं और कार्यकर्ताओं से खचाखच भर गया. राज्य के सभी जिलों से पार्टी के नेता और कार्यकर्ता पूरी तैयारी में पहुंचे थे. कार्यकर्ता पूरी रात रांची की सड़कों पर सीएम हेमंत सोरेन का हाल जानने डटे रहे. उनको ना रहने की चिंता नजर आई ना खाने पीने की. समर्थक बस मुख्यमंत्री को एक झलक देखना चाह रहे थे.
करीब 7- 8 घंटे पूछताछ के बाद गुरुवार देर रात सीएम लौटे मगर ईडी कार्यालय में क्या हुआ यह उनके समर्थक जानना चाहते थे. इसी वजह से शुक्रवार सुबह से ही समर्थक उनके आवास के पास जुटने लगे. देखते ही देखते मुख्यमंत्री आवास के बाहर हजारों की संख्या में उनके समर्थक बैनर, पोस्टर और तख्तियां लेकर पहुंच गए. सभी मुख्यमंत्री के मुंह से कुशल क्षेम जानना चाह रहे थे. गगनभेदी नारों से पूरा मुख्यमंत्री आवास परिसर गूंजता रहा.
दोपहर किरीब डेढ़ बजे मुख्यमंत्री राज्य के सभी मंत्रियों एवं यूपीए गठबंधन के विधायकों के साथ अपने समर्थकों से मिलने पहुंचे. जहां समर्थकों ने मुख्यमंत्री का गर्मजोशी से स्वागत किया. मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में समर्थन के लिए राज्य के कोने- कोने से जुटे कार्यकर्ताओं के प्रति आभार जताया और सजग रहने की अपील की. उन्होंने कहा राज्य को साजिश के तहत दलाल प्रवृत्ति के आदिवासी और मूल वासियों के सहयोग से लूटने का षड्यंत्र रचा जा रहा है. समय रहते वैसे चेहरों को पहचानने की जरूरत है. राज्य में हो रहे विकास को देख विपक्ष बौखला गया है.
ईडी की कार्रवाई को उन्होंने दुर्भावना से ग्रसित बताया और कहा देश के इतिहास में कोई भी नेता ऐसे कार्रवाई से भागा नहीं है बल्कि डटकर मुकाबला किया है. व्यापारी और कारोबारी भले देश छोड़कर भाग चुके हैं. उन्होंने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा जब- जब झारखंड मुक्ति मोर्चा को कमजोर करने का प्रयास किया गया है कार्यकर्ताओं के उत्साह से पार्टी और मजबूत होकर निखरा है. पार्टी के कार्यकर्ताओं ने दोहरे उत्साह के साथ विपक्ष का सामना किया है. यहां गांव- गांव में जलियांवाला बाग की घटना घटी है. झारखंड बलिदानियों और आंदोलनकारियों की धरती है. गुरु जी को भी सत्ता से दूर रखने के लिए कई बार साजिश किया गया, जिसे जनता ने नकार दिया. मैं जब तक झारखंड में सत्ता के शीर्ष पर काबिज रहूंगा राज्य का बाल भी कोई बांका नहीं कर सकता है. उन्होंने मौजूद जनसमूह को 2 साल के भीतर राज्य को गुजरात मॉडल के रूप में विकसित करने का भरोसा. उनके ओजपूर्ण संबोधन के बीच- बीच में कार्यकर्ता और समर्थक जमकर नारेबाजी करते रहे. इस दौरान मंच पर मंत्री चंपई सोरेन, मिथिलेश ठाकुर, बन्ना गुप्ता, जोबा मांझी, महुआ मांझी, विधायक अंबा प्रसाद, संजीव सरदार, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोध कांत सहाय, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर आदि मौजूद रहे.
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Reporter for Industrial Area Adityapur