सरायकेला जिले में सरकारी जमीन का बंदरबांट जारी है. विभागीय अधिकारी और थाने से जब इंसाफ नहीं मिला तो जमीन माफियाओं से त्रस्त सामाजिक कार्यकर्ता विद्याधर नायक ने सीधे पीएमओ का रुख किया और प्रधानमंत्री गिरेभान्स सेल में शिकायत दर्ज करा दी है.
हालांकि इसपर क्या कार्रवाई होती है, यह तो आने वाला वक्त ही तय करेगा, लेकिन इतना तो तय हो गया कि सरकार और सरकारी तंत्र के नाक के नीचे बड़े पैमाने पर सरकारी जमीन का बंदरबांट जारी है. जिसकी सुध लेने वाला कोई नहीं.
देखें शिकायत की प्रति
दरअसल मामला आदित्यपुर थाना से सटे अलकतरा ड्रम बस्ती का है. जहां वन विभाग और सरकारी जमीन पर वर्षों से भू-माफिया कब्जा जमाए बैठे हैं. विदित रहे, कि इसी बस्ती से अवैध ब्राउन शुगर, ड्रग्स और नशीले पदार्थों की खरीद बिक्री होती है. जहां से कई मादक पदार्थों के कारोबारी सलाखों के पीछे भेजे जा चुके हैं, बावजूद इसके इस बस्ती पर प्रशासन की ओर से कोई कड़ी कार्रवाई अब तक नहीं की गई है. नतीजा यह है, कि आज भी उक्त बस्ती में नशीले पदार्थों की धड़ल्ले से खरीद बिक्री जारी है हद तो यह है कि संबंधित विभाग के पदाधिकारी भी अब नशीले पदार्थ के कारोबारियों एवं जमीन माफियाओं के आगे नतमस्तक हो चुके हैं वहीं सभ्य लोगों का बस्ती में रहना दूभर हो गया है. इस संबंध में विद्याधर नायक ने बताया, कि कई बार विभागीय स्तर पर पत्राचार करने के बाद भी जब उन्हें न्याय नहीं मिला तो पीएमओ गिरेवान्स सेल का रुख अख्तियार किया. वैसे अदित्यपुए थाना प्रभारी आलोक कुमार दुबे ने श्री नायक को हर संभव सहयोग करने का भरोसा दिलाया है. उन्होंने बताया कि उनकी हिट लिस्ट में अलकतरा ड्रम बस्ती के अवैध कारोबारी सबसे ऊपर हैं. जैसे ही विभाग से सम्बंधित जमीन पर हुए अतिक्रमण को मुक्त कराने का आदेश आएगा वे तत्काल जमीन माफियाओं पर कार्रवाई करेंगे. आपको बता दें कि विद्याधर नायक राजद के जिला उपाध्यक्ष भी हैं, और झारखंड बनने के बाद साल 2000 में चक्रधरपुर विधानसभा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में पर्चा भी दाखिल किया था, हालांकि वे चुनाव हार गए थे.