खरसावां: प्रखंड के बासंती मंदिर में श्री श्री 108 मां बासंती पूजा समिति के ब्राहम्ण समाज द्वारा आयोजित बासंती पूजा विजयादशमी के साथ संपन्न हो गई. विदित हो कि खरसावां के ब्राहम्ण समाज ने वर्ष 1903 से बासंती पूजा आरंभ किया था. जो प्रति वर्ष चैत्र नवरात्र के रूप में मनाया जाता है.
पिछले चार दिनो से चली आ रही पूजा- अर्चना विजयादशमी पूजा के बाद मां की प्रतिमा को जलाशय में विसर्जित कर दिया गया. विजयादशमी के दिन ब्राहम्ण बालको का उपनयन भी कराया गया. इस वर्ष झारखंड, बिहार, उड़ीसा, पश्चिम बगाल से आए 40 ब्राम्हण युवाओं का उपनयन (जनेऊ) निःशुल्क संपन्न कराया गया. उपनयन के बाद रूसीया गोमन यात्रा परंम्परा निभाई गई. मंदिर में महासप्तमी, महाअष्टमी, महानवी एवं विजयादशमी की पूजा अर्चना पारंम्परिक विधि- विधान के तहत किया गया. मंदिर में पूजा अर्चना के दौरान बकरे की बलि चढाई गई. वही खीर, खिचडी, मॉस, पीठा का भोग लगाया गया. उसके बाद सामुहिक रूप से प्रसाद सेवन भी किया गया. ब्राम्हण युवाओं का उपनयन एवं बासंती पूजा में विभिन्न राज्यों से समाज के लोग भी शामिल हुए.
इस दौरान मुख्य रूप से ब्राम्हण समाज के कामाख्या प्रसाद षांडगी, अमुजाख्यो आचार्य, हरिशचन्द्र आचार्य, बिरोजा पति, सुकू पति, सुबोध पाणी, सुशील षांडगी, पंकज मिश्रा, विमला प्रसाद षाड़ंगी, रामकुमार षाड़ंगी, प्रवीन षाड़ंगी, सुजीत हांजरा, प्रितिरंजन नंदा, राजेश मिश्रा, जगन्नाथ पति आदि समाज के लोग उपस्थित थे.
Reporter for Industrial Area Adityapur