खरसावां: बुधवार को खरसावां पथ निरीक्षण भवन में झारखंड आंदोलनकारियों की एक बैठक हरीश बानरा की अध्यक्षता में की गई. इस बैठक में सर्वसम्मति से झारखंड आंदोलनकारी मंच के संयोजक मंडली का गठन किया गया. संयोजक मंडली में बुधराम सोय, रामकृष्ण सोय, हरिश चन्द्र बानरा, कोकिल केशरी, सिद्वेश्वर बानरा, शंकर महतो, गुरूचरण हांसदा को शामिल किया गया है.
इस दौरान आंदोलनकारियों ने चिन्हित आंदोलनकारियों को अविलंब प्रमाण पत्र निर्गत करने की मांग झारखंड आंदोलनकारी आयोग किया गया. इसके अलावे झारखंड आंदोलनकारियों ने सरायकेला के तितिरबिला मौजा में सड़क निर्माण व चौड़ीकरण कार्य के लिए जमीन अधिग्रहण का विरोध कर रहे स्थानीय ग्रामीण एवं रैयतदारो पर जिला प्रशासन द्वारा बर्बरतापूर्वक लाठी चार्ज, दुर्व्यवहार, अत्याचार की घोर निंदा की. साथ ही झारखंड आंदोलनकारियों ने कहा कि तितिरबिला में जिला भू-अर्जन पदाधिकारी को सबसे पहले ग्राम सभा का आयोजन कर सर्वसम्मति से सड़क निर्माण व चौड़ीकरण कार्य पर सहमति लेना चाहिए. भूमि अधिग्रहण अधिनियम 2013 नियमावली के तहत पुनर्वासन और पुनर्व्यवस्थापन पर पारदर्शिता से भूमि अधिग्रहण अधिनियम पर विचार किया जाना चाहिए. पेशा अधिनियम कानून 1996 जो ग्राम सभा में मान्यता है. पेशा कानून का पालन किया जाना चाहिए. जिसपर जिला भू-अर्जन पदाधिकारी और प्रशासन द्वारा नियमावली का घोर उल्लघंन किया है. ऐसे रवैया का झारखंड आंदोलनकारीगण बर्दाश्त नही करेगी. झारखंड के आदिवासियों और मूलवासियों के साथ प्रशासन द्वारा न्याय किया जाना चाहिए. इस बैठक में मुख्य रूप से बुधराम सोय, रामकृष्ण सोय, केपी सेठ सोय, शंकर महतो, सिद्वेश्वर बानरा, सिद्वियू बानरा, शातेश बानरा, मानसिंह तियु, अर्जुन गोडसोरा, बागुन समद, कोकिल कैशरी, भरत मुखी, युधुनाथ सोय, सतीश होनहागा, रमेश मुर्मू, गुरूचरण हांसदा, हरिश चन्द्र बानरा, सनातन सोय आदि उपस्थित थे.