रांची/ K. D Rao असम के मुख्यमंत्री और झारखंड बीजेपी के विधानसभा सह प्रभारी हिमंता बिस्वा सरमा द्वारा बुधवार को प्रेस कांफ्रेंस कर झारखंड सरकार द्वारा स्पेशल ब्रांच के दो अधिकारियों से पूर्व मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन की रेकी कराए जाने का आरोप लगा कर सनसनी फैला दिया था. जिसका जवाब झारखंड पुलिस मुख्यालय ने देकर सारे आरोपों को खारिज कर दिया है. हालांकि झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन की रेकी करने के मामले में विशेष शाखा के दो पुलिस पदाधिकारी से दिल्ली पूछताछ हुई थी.
इस मामले को लेकर झारखंड पुलिस मुख्यालय ने कहा कि पारंपरिक तौर पर दिल्ली और अन्य राज्यों में विशेष शाखा की टीम झारखंड संबंधी राजनीतिक, आर्थिक, सामाजिक और अन्य महत्वपूर्ण विषयों पर सूचनाओं का संकलन करती रही है. गणमान्य व्यक्तियों को सुरक्षा प्रदान करने में भी विशेष शाखा की टीम का योगदान रहता है. दिल्ली में झारखंड पुलिस के अवर निरीक्षक स्तर के दो पदाधिकारियों को रोके जाने के संबंध में मीडिया में चल रहीं खबरों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए राज्य पुलिस मुख्यालय ने कहा कि दोनों पुलिस अधिकारी कार्य निर्वहन के दौरान गलतफहमी के कारण चिह्नित हुए. वे किसी व्यक्ति विशेष की निगरानी नहीं कर रहे थे, बल्कि सुरक्षा व्यवस्था में वहां प्रतिनियुक्त किये गये थे. इस संबंध में सभी संबंधित जांच एजेंसियों को सारी जानकारी उपलब्ध करा दी गई है. सच्चाई का पता लगने के बाद उक्त पदाधिकारियों को मुक्त कर दिया गया है. किसी व्यक्ति की जासूसी करने की बात गलत है. चंपाई सोरेन झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हैं. विशेष शाखा के पुलिस पदाधिकारी वहां अपने दायित्वों का निर्वहन कर रहे थे.