रांची: राज्य में दो साल बाद कोर्ट के सख्त रुख को देखते हुए अब ऐसा लगने लगा है कि जल्द ही सरकार निकाय चुनाव करा सकती है. इसके लिए ओबीसी का सर्वे पूरा कर लिया गया है. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो कई ऐसे निकाय हैं जहां रोस्टर प्रणाली के तहत मेयर और अध्यक्ष पद आरक्षित किया जा सकता है जिससे चुनाव की तैयारी में जुटे जनप्रतिनिधियों को तगड़ा झटका लग सकता है. फरवरी में सभी जिलों से ओबीसी सर्वे की विस्तृत रिपोर्ट राज्य निर्वाचन और झारखंड सरकार को भेजी जाएगी. फिर पूरे झारखंड में चुनाव होगा. अभी दावा- आपत्ति के लिए आवेदन लिया जा रहा है.
इस बार मेयर और अध्यक्ष पद का चुनाव होना है, जबकि उप महापौर और उपाध्यक्ष का चयन पार्षद करेंगे. पिछली बार उपमहापौर और उपाध्यक्ष का चयन वोटिंग के जरिये हुआ था. इसबार पार्टी आधारित चुनाव भी नहीं होना है. ऐसे में उपमहापौर और उपाध्यक्ष पद के लिए बड़े- बड़े सूरमाओं को वार्ड पार्षद का चुनाव जीतना होगा.
आदित्यपुर नगर निगम एसटी महिला के लिए आरक्षित; तो मानगो सीट सामान्य
मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो आदित्यपुर नगर निगम में मेयर सीट अनुसूचित जनजाति महिला के लिए आरक्षित किया जा सकता है जबकि मानगो में पहली बार मतदाता तीसरे मताधिकार का प्रयोग करेंगे. यहां मेयर सीट सामान्य के लिए हो सकता है. मानगो में 1.80 लाख मतदाता हैं जबकि आदित्यपुर नगर निगम में 1.70 मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे. मजे की बात ये है कि आदित्यपुर नगर निगम में एसटी की तुलना में सामान्य श्रेणी के मतदाताओं की संख्या अधिक है बावजूद इसके यह सीट एसटी महिला के लिए आरक्षित किया गया है.