आदित्यपुर: शिक्षक दिवस के मौके पर राष्ट्रपति देश के 50 शिक्षकों को सम्मानित करेगी, इसको लेकर एक और जहां देश भर के सरकारी शिक्षकों में उत्साह है, वहीं दूसरी ओर भारतीय गैर सरकारी शिक्षक संघ सह समाजसेवी संस्था (इप्टा) इससे आहत है.
रविवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इप्टा के प्रदेश अध्यक्ष डॉक्टर परमानंद मोदी ने इसे निजी शिक्षकों का अपमान बताया. उन्होंने कहा कि देश के 90 फ़ीसदी गैर सरकारी शिक्षक लोकतंत्र के चारों स्तंभ के निर्माण में अपनी अहम भूमिका निभाते हैं, ऐसे में गैर सरकारी शिक्षकों की उपेक्षा करना बेहद ही चिंतनीय है. उन्होंने भारत सरकार एवं राष्ट्रपति से इस पर संज्ञान लेते हुए अगले साल राष्ट्रीय पुरस्कार के लिए निजी शिक्षकों की भागीदारी भी सुनिश्चित करने की मांग की.
साथ ही श्री मोदी ने इप्टा से जुड़े देश भर के निजी शिक्षकों से एकजुट होकर अपनी आवाज बुलंद करने की अपील की. उन्होंने भरोसा दिलाया कि बहुत जल्द इप्टा का एक शिष्टमंडल राष्ट्रपति से मुलाकात कर अपनी मांगों को रखेगा. वहीं आगामी 5 सितंबर को आदित्यपुर मांझी टोला में एक कार्यक्रम के तहत देश भर के इप्टा से जुड़े 101 निजी शिक्षकों को सम्मानित करने की घोषणा की है. उन्होंने तमाम निजी शिक्षकों से इसमें शामिल होने एवं इसे सफल बनाने की अपील की.