सरायकेला: लोक आस्था के महापर्व चैती छठ दूसरे दिन खरना महाप्रसाद ग्रहण करने के साथ ही व्रतियों का 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू हो गया है. इधर बुधवार को महाप्रसाद ग्रहण करने के लिए श्रद्धालुओं का तांता व्रतियों के घर लगा रहा.
जिले के आदित्यपुर, गम्हरिया एवं कांड्रा में चैती छठ धूमधाम से मनाया जा रहा है. हालांकि कार्तिक मास में होने वाले छठ की तुलना में इसे अत्यंत कठिन माना जाता है. बावजूद इसके अच्छी- खासी संख्या में लोग यह पर्व मना रहे हैं. मंगलवार को नहाय- खाय के बाद बुधवार को खरना मनाया गया. गुरुवार को अस्ताचलगामी भगवान भास्कर को पहला अर्ध्य दिया जाएगा. 8 अप्रैल यानी शुक्रवार को को उगते सूर्य को अर्घ्य देने के साथ ही व्रत संपन्न हो जाएगा.
फोटो गुड़िया देवी
बुधवार को खरना पर श्रद्धालुओं ने व्रतियों के घर जाकर प्रसाद (गुड़ से बनी चावल की खीर) ग्रहण किया, और छठि मइया से आशीर्वाद मांगा. श्रद्धालु छठ महापर्व को बहुत ही श्रद्धा एवं विश्वास के साथ मनाते हैं. कांड्रा के अलग- अलग गांवों एवं मोहल्ले में छठ महापर्व को मनाया गया. वही एसकेजी कॉलोनी में अशोक सिंह के घर उनकी धर्म पत्नी गीता देवी विगत 7 साल से छठ महापर्व करती आ रही है. श्रद्धालुओं उनके घर जाकर खरना का महा प्रसाद ग्रहण किया और छठि मैया से से सुख समृद्धि की कामना की.