AURANGABAD/ Dinanath Mouar बिहार के शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक शुक्रवार को औरंगाबाद पहुंचे थे. उनके बारे में कहा जाता है कि वे जमीन पर उतर कर समस्या का समाधान करते हैं. उनकी जब से शिक्षा विभाग में पदस्थापना हुई है, शिक्षा विभाग की तस्वीर बदल गई है. स्कूलों में शिक्षक समय से पहुंच रहे हैं, वहीं विद्यालयों में छात्रों की उपस्थिति बढ़ी है. अभिभावक केके पाठक की प्रशंसा करते नहीं थक रहे हैं. शिक्षकों से लेकर शिक्षा विभाग के अधिकारी समय पर कार्यालय आ रहे हैं. खामियों को दूर किया जा रहा है. बिहार की शिक्षा व्यवस्था पटरी पर आने लगी है. उनके इस कार्य की प्रशंसा सूबे के मुखिया भी कर चुके हैं. वहीं केके पाठक लगातार एक्शन मोड में हैं, वे उन शिक्षकों के साथ छात्रों पर भी कार्रवाई कर रहे हैं, जो कार्य और पढ़ाई में लापरवाही कर रहे हैं और विभाग के नियमों की अनदेखी कर रहे हैं. बिहार में शिक्षा व्यवस्था की सेहत सुधारने के लिए विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक जोरशोर से लगे हैं.
इसी क्रम में वे शुक्रवार को औरंगाबाद पहुंचे. जहां पहले उन्होने मदनपुर प्रोजेक्ट हाई स्कूल और अनुग्रह उच्च विद्यालय का निरीक्षण किया. इस दौरान व्यवस्था में सुधार लाने का निर्देश दिया. सबसे पहले उन्होंने प्रोजेक्ट जयप्रभा कन्या उच्च माध्यमिक विद्यालय में दौरा किया, जहां प्रवेश करते ही सबसे पहले विद्यालय के प्रभारी प्रधानाध्यापक से उन्होंने विद्यालय में छात्र छात्राओं एवं शिक्षकों की उपस्थिति के बारे में जानकारी ली. इसके बाद उन्होंने विद्यालय में लगे शिक्षकों और छात्राओं की उपस्थिति बोर्ड को देखा और विद्यालय के सभी क्लासरूम का बारी- बारी जायजा लिया. छात्राओं से पढ़ाई के बारे में पूछताछ की. प्रत्येक माह होने वाले परीक्षा से संबधित भी जानकारी ली. इस दौरान छात्राओं ने कमरा और शिक्षकों की कमी को लेकर सवाल उठाया जिसकी जल्द ही भरपाई करने का उन्होंने आश्वासन दिया. फिर शौचालय का निरीक्षण किया जहां उससे संतुष्ट होकर प्रशंसा की. इसके बाद लैब का निरीक्षण किया, जहां लैब के शिक्षक अजीत कुमार केसरी और ईश्वरी कुमार से जानकारी ली. प्रत्येक दिन स्टूडेंट्स का दो लैब क्लास लेने का निर्देश दिया. निरीक्षण के दौरान एक कमरा को दरवाजा झूल रहा था जिसे बदलने और शौचालय वाले कमरे के तरफ रहे कचरे की साफ- सफाई कराने का निर्देश दिया. विद्यालय के प्रभारी प्रधानाध्यापक प्रवीण कुमार मिश्र ने भी उन्हे कमरों की समस्या से अवगत कराया जिसका जल्द ही निर्माण करवाने का उन्होने आश्वासन दिया. वैसे खबर ये भी है कि केके पाठक के आगमन से ठीक पहले ग्रामीणों के स्कूल के जर्जर भवन का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल किया था. शिक्षा विभाग की ओर से पाठक को उस स्कूल का दौरा नहीं कराया गया. जो चर्चा का विषय बना हुआ है.