चाईबासा: गुरुवार को चाईबासा प्रखंड के करलाजुड़ी पंचायत के पंचायत सेवक को एसीबी की टीम ने 11 हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथ धर दबोचा, जिसे गिरफ्तार कर अपने साथ जमशेदपुर ले गयी.
पंचायत सेवक का नाम सागर लागुरी है, जो मूलरूप से जगन्नाथपुर के सेलदौरी गांव का रहने वाला है. मिली जानकारी के अनुसार 2.5 लाख के स्नान घाट की योजना पूर्ण होने के बाद बिल पास कराने के एवज में पंचायत सेवक ने संवेदक से 12 हजार रुपये घूस की मांग की थी. गुरुवार शाम करीब चार बजे एसीबी ने जाल बिछाकर महुलसाई ओवरब्रिज के पास से उसे घूस की रकम के साथ धर दबोचा. बताया जा रहा है कि आरटीआई कार्यकर्ता साधु चरण कुंटिया के जरिये शिकायतकर्ता सुखलाल पूर्ति ने पंचायत सेवक को एसीबी से पकड़वाने में मदद की. बताया गया कि 15वें वित आयोग से सदर प्रखंड के करलाजुड़ी पंचायत में 2, 49, 900 रुपये की लागत से स्नान घाट के निर्माण का ठेका करलाजुड़ी की लाभुक समिति को मिला था. लाभुक समिति ने निर्धारित समय से पहले ही स्नान घाट तैयार कर दिया. इसके बाद समिति अध्यक्ष सुखलाल पुरती ने योजना पूर्ण होने के एवज में अंतिम बिल पर हस्ताक्षर के लिए दस्तावेज पंचायत सेवक सागर लागुरी को सौंपे. पंचायत सेवक ने अंतिम बिल पर हस्ताक्षर के एवज में 12 हजार रुपये रिश्वत मांगी. अध्यक्ष सुखलाल के अनुसार जब समय पर अच्छा काम कर दिया तो घूस क्यों दे. इसलिए उसने पंचायत सेवक को रंगे हाथ पकड़वाने की योजना बनायी. उसने आरटीआई कार्यकर्ता साधु चरण कुंटिया के जरिये एसीबी के अधिकारी से संपर्क किया और सारी जानकारी दे दी. एसीबी ने शिकायत की पुष्टि होने के बाद पंचायत सेवक को रंगे हाथ दबोचने की योजना बनायी. इस बीच बुधवार को सुखलाल ने 1 हजार रुपये पंचायत सेवक को घूस के तौर पर दे दिये. शेष 11 हजार रुपये गुरुवार को देना तय हुआ. गुरुवार को सुखलाल को पंचायत सेवक ने पहले सदर ब्लाक के पास बुलाया. दोपहर 2.30 बजे सुखलाल वहां पहुंचा तब तक पंचायत सेवक वहां से निकल अपने कमरे में चला गया था. इसके बाद शाम करीब 4 बजे पंचायत सेवक ने उसे महुलसाई ओवरब्रिज के पास आने के लिए कहा. सुखलाल तुरंत वहां पहुंचा और 11 हजार रुपये जेब से निकालकर पंचायत सेवक को दे दिये. पंचायत सेवक ने जैसे ही रुपये लिए, उसी समय एसीबी के अधिकारी पहुंच गये और उसे पकड़ लिया. टीम पंचायत सेवक को लेकर उसके जगन्नाथपुर स्थित सेलदौरी गांव गयी. वहां तलाशी लेने के बाद देर शाम पंचायत सेवक को एसीबी की टीम अपने साथ जमशेदपुर स्थित मुख्यालय लेकर चली गई.