सरायकेला: गुरुवार को जमशेदपुर के कदमा में आदित्यपुर राम मड़ैया बस्ती निवासी हिस्ट्रीशीटर अपराधी भोलू कुम्हार उर्फ तारिणी की हत्या के बाद सरायकेला के अपराध की दुनिया से जुड़े अपराधियों के बीच फिर से गैंगवार की आशंका बढ़ गयी है. जैसा कि सूत्र बताते हैं कि भोलू की हत्या में स्क्रैप कारोबारी विक्की नंदी का हाथ है. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार भोलू की हत्या के वक्त घटनास्थल के आसपास विक्की नंदी मौजूद था और उसी के इशारे पर भोलू की हत्या हुई है. घटना के बाद से विक्की फरार है.
क्यों अपराध जगत में वापस लौटा विक्की नंदी ?
चार साल पूर्व विक्की नंदी तब सुर्खियों में आया था जब रेलवे के स्क्रैप चोरी मामले में उसका नाम आया था. उस वक्त विक्की की पहचान छोटे- मोटे स्क्रैप कारोबारी के रूप में होती थी. विक्की नंदी तब मनोज सरकार गिरोह के लिए काम करता था. उस गिरोह में बबलू दास भी शामिल था. जेल से छूटने के बाद विक्की ने अपनी अलग राह चुन ली. वह अकेले स्क्रैप का कारोबार करना चाहता था. उधर जेल में बंद कुख्यात अपराधकर्मी सागर लोहार की दोस्ती बबलू दास से हो गयी. सागर और कुख्यात कार्तिक मुंडा के साथ मिलकर बबलू दास स्क्रैप के धंधे को हथियाने में जुट गया. इसी बीच देबु दास की हत्या हो गई. देबु भी मनोज सरकार गिरोह के लिए काम करता था. वह विक्की का साथी था. इधर बाबू की हत्या के बाद विक्की अलग- थलग पड़ने लगा. विक्की के साथ डोमेनिक सैमसन बच गया. जेल से छूटने के बाद डोमेनिक जमीन के धंधे में उतर गया. यहां डोमेनिक ने विक्की को अपराधकर्मी संतोष थापा से हाथ मिलवाया, हालांकि विक्की जमीन के धंधे में नही उतरना चाहता था, बावजूद इसके विक्की ने संतोष थापा से दोस्ती कर ली. वैसे दोनों के बीच पूर्व से भी संबंध थे, मगर करीबी नहीं थी. संतोष शातिर अपराधी रहा है. उसकी भी नजर स्क्रैप के धंधे पर थी. इसी बीच 11 नवंबर 2021 को विक्की नंदी पर आदित्यपुर बेल्डीह छठ घाट पर उस वक्त बम से हमला हुआ जब वह सपरिवार छठ घाट गया हुआ था. हालांकि विक्की उक्त घटना में बाल- बाल बच गया. इसमें बबलू दास का नाम आया. पुलिस ने बबलू के साथ भट्ठा लोहार, मोती विशोई व अन्य को गिरफ्तार कर जेल तो भेज दिया, लेकिन विक्की के लिए मैसेज साफ था कि वह अपराधियों के निशाने पर है और कल तक जो उसके अपने थे वही उसकी जान की दुश्मन बन बैठे हैं. धीरे- धीरे संतोष थापा भी सागर और कार्तिक के प्रभाव में आ गया अब विक्की अकेला पड़ गया. हाल ही में विक्की के साथी बाबू दास और अजय प्रताप सिंह पर बम से जानलेवा हमला हुआ, उसके बाद से ही विक्की फिर से अपराध की दुनिया में वापसी का संकेत देने लगा था. इन दिनों विक्की फाइनेंस कंपनी के रिकवरी एजेंट का काम कर रहा था. इससे पहले आदित्यपुर में एक बार को ठेके पर लेकर चला रहा था. उसमें इमरान उसका पार्टनर था. इमरान के जेल जाने के बाद विक्की ने धंधा समेट लिया. भोलू की हत्या के पीछे का कारण माना जा रहा है कि भोलू कार्तिक मुंडा सागर लोहार और संतोष थापा के संपर्क में था और वह मुख्य रूप से हथियार सप्लायर था. भाजपा नेता गणेश महाली का बिजनेस भी देखता था. भोलू कुख्यात अपराधी रतन लोहार का साला था, रतन लोहार भी गणेश महाली का करीबी था. रतन आदित्यपुर के राममड़ैया बस्ती में रहता था. बस्तीवासियों ने उसकी पीट- पीटकर हत्या कर दी थी. फिलहाल भोलू की हत्या के बाद कदमा पुलिस मामले की तफ्तीश एंन जुट गई है. अब देखना दिलचस्प होगा कि क्या वाकई भोलू की हत्या में विक्की का हाथ है, या कोई जबरन विक्की का नाम इसमें घसीट रहा है. हालांकि विक्की ने यदि भोलू की हत्या कराई है तो आनेवाले दिनों में आदित्यपुर में गैंगवार से इंकार नहीं किया जा सकता है. वैसे लंबे समय बाद विक्की ने हथियार उठाया है, यदि समय रहते विक्की गिरफ्तार नहीं होता है तो विक्की और घातक हो सकता है, क्योंकि उसे खुद की जान का खतरा है और उसे अब लगने लगा है कि यदि वह हथियार नही उठाता है तो अपराध जगत उसे मरवा देगा.