खरसवां: प्रखंड के आमदा में यदुवंशी जागृति मंच की ओर से एक सभा का आयोजन किया गया. इस सभा में सर्वसम्मति से यदुवंशी जागृति मंच के वर्तमान कार्यकारी समिति को भंग करते हुए स्थाई कमेटी का गठन किया गया. साथ ही श्री कृष्णा जन्माष्टमी धूमधाम से मनाने का निर्णय लिया गया.
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वहीं समिति के पदाधिकारियों को भगवत गीता देकर सम्मानित किया गया. सर्वसम्मति से यदुवंशी जागृति मंच के स्थाई समिति के सलाहकार समिति मे पांडव प्रधान, दानिशंकर प्रधान, धरमुधर प्रधान, सच्चिदानंद प्रधान, अजीत प्रधान,
उपेन्द्र प्रधान अध्यक्ष, सत्यव्रत प्रधान,
विश्वजीत प्रधान, हीरालाल प्रधान, त्रिलोचन प्रधान, सुजीत प्रधान उपाध्यक्ष, अजय कुमार प्रधान सचिव, बंकिम प्रधान, दुर्योधन प्रधान, जगदानन्द प्रधान, प्रदीप प्रधान, मनबोध प्रधान उपसचिव, सदानन्द प्रधान, रवि प्रधान, चिरंजीवी प्रधान, बिम्बाधर प्रधान, लखींद्र प्रधान, पंकज प्रधान को कोषाध्यक्ष, प्रेमलाल प्रधान, लिंगेश्वर प्रधान, जगदीश प्रधान, राजेन प्रधान, अंजन प्रधान संगठन मंत्री, सच्चिदानंद प्रधान प्रवक्ता, तरुण प्रधान मिडिया प्रभारी मनोनीत किया गया. जबकि सत्यनारायण प्रधान को युवा समिति का अध्यक्ष, तरुण प्रधान मुरलीधर प्रधान, अजीत कुमार प्रधान उपाध्यक्ष, तनुज प्रधान सचिव, कपिलदेव प्रधान, राजु प्रधान उपसचिव, सुधांशु प्रधान कोषाध्यक्ष, अनिल प्रधान उप कोषाध्यक्ष मनोनीत किया गया.
मौके पर पांडव प्रधान ने कहा कि शिक्षा किसी भी प्रगतिशील समाज की रीढ़ होने के साथ उसकी उन्नति और परिपक्वता का आइना होता है. शिक्षा से वंचित समाज श्रेष्ठता का दावा नहीं कर सकता और यह भी पता नहीं होता कि उसे कैसा व्यवहार करना चाहिए. हमारे जैसे विकासशील देश के लिए तो शिक्षा का महत्व और भी बढ़ जाता है. हालांकि यह भी समझना जरूरी है, कि शिक्षा का आशय महज किताबी ज्ञान से नहीं है. जो व्यक्ति लिख- पढ़ सकता है, उसे साक्षर तो कहा जाएगा, लेकिन यह जरूरी नहीं कि वह शिक्षित है. हालांकि साक्षरता इस प्रक्रिया का जरूरी कदम है. इस दौरान यदुवंशी जागृति मंच की सभा में काफी संख्या मे समाज के लोगों ने भाग लिया.
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