सरायकेला/ Pramod Singh चांडिल अंचल अंतर्गत के मौजा-पुडीसीली में षड्यंत्र के तहत गरीब आदिवासी की जमीन हड़पने के विरोध में लगभग 50 की संख्या में रैयतदारों ने मंगलवार को जिला मुख्यालय पहुंच कर उपायुक्त को ज्ञापन सौंपा. साथ ही रैयतों ने आदिवासी जमीन हड़पने के षड्यंत्र में पदाधिकारी, कर्मचारी और भू माफिया के बीच सांठगांठ का आरोप लगाया.
उपायुक्त को सौंपे ज्ञापन में कहा गया है कि चांडिल अंचल अंतर्गत मौजा- पुडीसीली के खाता संख्या- 33, प्लॉट संख्या-16, 17, 18, 19, 21, 155 एवं 156 में कुल 8 एकड़ 63 डिसमिल खतियानी जमीन स्वर्गीय गंम्भीर साह उर्फ गंम्भीर सिंह सरदार के नाम पर दर्ज है. उक्त जमीन के खतियानी वारिस होने के आधार पर पीढ़ी दर पीढ़ी हम लोग शांतिपूर्ण ढंग से दखल भोग करते आ रहे हैं. हमारी पुश्तैनी जमीन को हड़पने का एक कुचक्र भू-माफिया व उद्योगपतियों द्वारा रचा जा रहा है. जिसमें चांडिल के भूमि सुधार उप समाहर्ता, अंचल अधिकारी, अंचल निरीक्षक, राजस्व कर्मचारी और भू माफिया भी शामिल होने की बात कही गई हैं. इस मामले को लेकर विगत 21 अप्रैल 2023 एवं उससे पहले भी सारे दस्तावेजों के साथ साक्ष्य संलग्न करते हुए शिकायत दर्ज कराई गई थी. विगत दिनों इस पूरे प्रकरण की जानकारी होने के बाद अंचल कार्यालय चांडिल द्वारा आनन- फानन में फर्जी वंशावली के आधार पर किसी अज्ञात मोइना देवी व अन्य के नाम पर नामांतरण कर पूरे जमीन को पंजी-दो में दर्ज किया गया. साथ यह जानकारी मिली है कि जिला दंडाधिकारी सह उपायुक्त से अनुमति प्राप्त कर उद्योगपति के नाम पर निबंधन भी करा दिया गया है. वही हमारे दखल भोग की जमीन से हमें बेदखल करने हेतु पुलिस बल की मदद से बल प्रयोग कर पुश्तैनी जमीन को घेरने का षड्यंत्र रचा जा रहा है. हमारे पंचायत के मुखिया रतनीबाला सिंह द्वारा अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी चांडिल के न्यायालय में सीआरपीसी की धारा 39 के तहत सूचना आवेदन संख्या 09/23 दिनांक 6 मई 2023 के माध्यम इन पदाधिकारियों द्वारा किस प्रकार उन्हें डरा-धमका कर सही वंशावली को गलत लिखवाया गया. इस पूरे प्रकरण में न्याय की स्थापित परंपरा का घोर उल्लंघन की गई है. क्योंकि एक बार जब भूमि सुधार उप समाहर्ता चाडिल द्वारा हमारे पक्ष में आदेश जारी किया गया था. तो इसको रद्द करने का अधिकार उससे उच्च न्यायालय में होना चाहिए. साथ ही हमें भी नोटिस निर्गत कर हमारे पक्ष को रखने का मौका देना चाहिए. लेकिन इस सारी प्रक्रिया का घोर उल्लंघन हुआ है. इस घटना के पश्चात चांडिल अंचलाधिकारी द्वारा विभिन्न माध्यमों से हमें लगातार धमकाया जा रहा है. ताकि हम अपनी पुश्तैनी जमीन को छोड़ कर भाग जाएं. इस अप्रत्याशित षड्यंत्र से हमें ऐसा प्रतीत होता है कि चांडिल क्षेत्र में प्रस्तावित अंचल कार्यालय के पदाधिकारी से लेकर कर्मचारी तथा भूमि सुधार उप समाहर्ता चाडिल आदिवासी के जमीन, सरकारी जमीन को भू-माफिया और पूंजीपतियों के साथ मिलकर लूटने के उद्देश्य से एक संगठित गिरोह की तरह आचरण कर रहे हैं.
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भक्तो भूमिज
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अजीत सिंह सरदार
रैयतों ने उपायुक्त को ज्ञापन सौंपकर इस मामले से जुड़ी कागजातों का अध्ययन कर उचित कार्रवाई करने की मांग की गई है . ज्ञापन सौपने के दौरान मुख्य रूप से अजीत सिंह सरदार, भक्तो रंजन भूमिज, अमर सिंह सरदार, जितेन सिंह सरदार, राधानाथ सिंह सरदार, रतन सिंह, चंदन सिंह, कल्पना देवी, मेनका देवी, जगदीश सिंह, भोला मुंडा, सुलोचना देवी, सुनीता सिंह सरदार, संतोष सिंह आदि उपस्थित थे.
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Reporter for Industrial Area Adityapur