सरायकेला (Pramod Singh) बंगाल की खाड़ी में बने निम्न दबाव से 24 घंटे से हो रही लगातार बारिश से खरसावां की सोना नदी और गोविदपुर की संजय नदी उफान पर हैं. संजय नदी का पानी खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है.
पुलिया के चार फीट ऊपर नदी का पानी बहने से सरायकेला- खरसावां जिला मुख्यालय से खरसावां- कुचाई का संपर्क कट गया है. सरकारी, गैर सरकारी कर्मचारी डयूटी पर नहीं जा पा रहे हैं, वहीं कच्चे मकानों को क्षति पहुंची है.
भारी बारिश से जगह- जगह जल जमाव हो गया है, जिससे ग्रामीणों का जनजीवन अस्तव्यस्त हो गया है.
बता दें कि गत शुक्रवार की सुबह से खरसावां- कुचाई में रुक- रुककर हो रही लगातार तेज बारिश से लोग परेशान है. बारिश की गति तेज होने से शनिवार सुबह लगभग 4 बजे से खरसावां- सरायकेला मुख्य मार्ग के खापरसाई स्थित संजय नदी की गोविंदपुर पुलिया के ऊपर से पानी बहने लगा. पुलिया के लगभग चार फीट ऊपर से पानी बहने से मार्ग पर आवाजाही पूरी तरह ठप हो गयी और लोग जिला मुख्यालय से कट गये.
शनिवार सुबह से नदी का जलस्तर नही घटने के कारण आवाजाही बाधित रही. जबकि खरसावां की सोना नदी में जलस्तर बढ़ने से खरसावां- हुड़गदा मार्ग की पुरानी पुलिया को पानी छू रहा है. वहीं, बिजली भी आंख मिचौली कर रही है.
इधर लगातार हो रहे बारिश से नगर पंचायत क्षेत्र के विभिन्न इलाकों में जलजमाव हो गया है और लोग घरों में कैद हो गये हैं.
*पुराने पुल से करीब 10 फीट अधिक ऊंचाई पर है नया पुल*
सरायकेला- खरसावां मुख्य पथ पर अभिजीत प्लांट के पास संजय नदी पर 8 साल से उच्च स्तरीय पुल बनकर तैयार है, लेकिन एप्रोच रोड नहीं होने के कारण यह बेकार पड़ा हुआ है. एप्रोच रोड नहीं होने के कारण करीब 7 करोड़ की लागत से बने इस पुल पर यातायात शुरू नहीं हो पा रहा है. खरसावां विधायक दशरथ गागराई सीएम हेमंत सोरेन से मुलाकात कर संजय पुल का एप्रोच रोड की मांग भी कर चुके हैं.
पुराने पुल से नये पुल की ऊंचाई करीब 10 फीट अधिक है. नये पुल का शिलान्यास वर्ष 2012 में हुआ था. इसके कुछ साल बाद पुल तो बन गया, लेकिन भूमि अधिग्रहण के कारण एप्रोच रोड नहीं बन सका है.